Rajat Sharma

मिमिक्री : राहुल अपना दोष मीडिया पर न डालें

AKB30 उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ का अपमान एक बड़ा मुद्दा बनता जा रहा है. दिल्ली के जंतर मंतर पर गुरुवार को बीजेपी ने प्रदर्शन किया, जबकि जाट समुदाय ने मांग की है कि धनखड़ का अपमान करने वाले तृणमूल सांसद कल्याण बनर्जी और कांग्रेस नेता राहुल गांधी सार्वजनिक रूप से माफी मांगें. राष्ट्रपति द्रोपदी मुर्मू, प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और लोकसभा अध्यक्ष ओम बिड़ला ने गहरी नाराजगी और दुख जाहिर किया है. राष्ट्रपति ने कहा कि सभी को संवैधानिक पदों की गरिमा का ख्याल रखना चाहिए. प्रधानमंत्री मोदी ने उपराष्ट्रपति को फोन करके सहानुभूति व्यक्त की और कल्याण बनर्जी की हरकत की निंदा की. मोदी ने उपराष्ट्रपति से कहा कि वह खुद इसी तरह 20 साल से अपमान झेल रहे हैं. बुधवार को दिल्ली में तृणमूल अध्यक्ष ममता बनर्जी ने कहा कि अगर राहुल गांधी मिमिक्री का वीडियो ना बनाते तो ममला इतना तूल न पकड़ता. कांग्रेस नेता अधीर रंजन चौधरी ने कहा कि वीडियो अकेले राहुल गांधी ने नहीं बनाया था, कल्याण बनर्जी तो मिमिक्री कर रहे थे, जो कि एक कला है, इसका क्या बुरा मानना, ये किसी का अपमान नहीं हैं. इसके बाद राहुल गांधी ने सफाई दी. जब बात बहुत बढ़ गई, राहुल गांधी पर चारों तरफ से हमले होने लगे, तो राहुल सामने आए. उन्होंने गलती नहीं मानी, उल्टे मीडिया को नसीहत दे दी. राहुल ने कहा- “वहां पर MPs बैठे हुए थे, मैने उनका वीड़ियो लिया, मेरा वीडियो मेरे फोन पर है, ये सब मीडिया दिखा रहा है, मीडिया कह रहा है, मोदीजी कह रहे हैं, यहां किसी ने कुछ कहा ही नहीं. ..हमारे 150 MPs को पार्लियामेंट से उठा कर बाहर फेंक दिया…उसके बारे में मीडिया में कोई चर्चा नहीं हो रही है..अडानी पर कोई चर्चा नहीं हो रही है, राफेल पर फ्रांस ने कहा कि इनवेस्टिगेशन हो रहा है, उस पर कोई चर्चा नहीं हो रही है, बेरोज़गारी पर कोई चर्चा नहीं हो रही है. हमारे MPs यहां दुखी हैं, बाहर बैठे हुए हैं.. उन पर (मिमिक्री पे) आप चर्चा कर रहे हो. ..थोड़ा तो न्यूज़ दिखा दिया करो” . अपनी गलतियों के लिए मीडिया को जिम्मेदार ठहराना राहुल गांधी की आदत हो गई है. वो कैसे कह सकते हैं कि MPs के सस्पेन्शन पर मीडिया में चर्चा नहीं हुई? खूब हुई. राफेल पर, अडानी पर, क्या राहुल के बयान मीडिया ने नहीं दिखाए? खूब दिखाए. पर क्या उपराष्ट्रपति का मज़ाक मीडिया ने उड़ाया? क्या धनखड़ की मिमिक्री का वीडियो मीडिया ने बनाया? इसे कहते हैं – उल्टा चोर कोतवाल को डांटे. ममता बनर्जी ने ठीक कहा कि अगर राहुल गांधी वीडियो न बनाते, राज्यसभा के सभापति की मिमिक्री पर ठहाके न लगाते, तो मामला इतना बड़ा न बनता. और राहुल गांधी ने मीडिया के बारे में ऐसी बातें कोई पहली बार नहीं कही है. राहुल को राफेल के मुद्दे पर गलतबयानी के लिए सुप्रीम कोर्ट से लिखित माफी मांगनी पडी थी. क्या इसके लिए मीडिया जिम्मेदार था? उसके बाद अपने बयान के चक्कर में सूरत की कोर्ट से सजा मिली. क्या इसके लिए भी मीडिया जिम्मेदार था? फिर उनकी संसद की सदस्यता चली गई. क्या इसके लिए मीडिया जिम्मेदार था? वो तीन राज्यों में चुनाव हार गए, क्या इसके लिए मीडिया जिम्मेदार है? अब अगर ममता बनर्जी और अरविंद केजरीवाल ने इंडी अलायंस की मीटिंग में राहुल गांधी की बजाय मल्लिकार्जुन खरगे का नाम आगे कर दिया, तो क्या इसके लिए भी राहुल मीडिया को दोष देंगे? केजरीवाल और ममता ही नहीं, कांग्रेस के कई लोगों को भी लगता है कि राहुल गांधी चुनाव नहीं जिता सकते. कैंपेन के दौरान बड़ी-बड़ी बातें करते हैं. हाल ही में विधानसभा चुनाव के दौरान राहुल ने कहा था कि मैंने मोदी की गाड़ी के चारों पहियों की हवा निकाल दी है. राहुल ने कहा था कि राजस्थान, मध्य प्रदेश और छत्तीसगढ़ में मोदी को उखाड़ फेकेंगे. लेकिन जो हुआ वो सबने देखा. इसलिए कभी कभी अपने गिरेबां में झांक कर भी देखना चाहिए. मोदी-विरोधी मोर्चे की जिस मीटिंग से विरोधी दलों के नेताओं को बहुत उम्मीदें थी, वो मीटिंग डिरेल क्यों हो गई? ये भी सोचना चाहिए.

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