उदयपुर में दर्जी कन्हैयालाल की बर्बरतापूर्ण हत्या और अजमेर शरीफ दरगाह के 2 खादिमों के सिर कलम करने की धमकी के वीडियो वायरल होने का असर दिखने लगा है। राजस्थान में अब आम लोगों को भी सिर कलम करने की धमकियां दी जा रही है। ज्यादातर धमकियां सोशल मीडिया के जरिए दी जा रही हैं।
भरतपुर में 6 जुलाई को दो अज्ञात लोगों ने एक ऐम्बुलेंस ड्राइवर मुकेश कुमार को रोका, चिट्ठी फेंकी और खंजर दिखाते हुए धमकाया कि अगर पुलिस को खबर दी तो अंजाम बुरा होगा।
चिट्ठी में लिखा था: ‘यदि तुम लोग कन्हैयालाल और नूपुर शर्मा का समर्थन करते रहे, तो 10 दिनों के भीतर तुम्हारा सिर कलम कर दिया जाएगा।’ भरतपुर के कैथवाड़ा थाने के SHO शिव लहरी ने बताया कि चिट्ठी में दो लोगों – किराने की दुकान चलाने वाले सतीश चंद और सरकारी स्कूल के शिक्षक प्रमोद – के नाम थे और ‘सिर तन से जुदा’ लिखा था। पुलिस ने कहा कि दोनों लोगों को सुरक्षा प्रदान की गई है। सतीश चंद के बेटे मोहित खंडेलवाल ने कहा कि उनके पिता सोशल मीडिया पर नहीं हैं और न ही उन्होंने कोई पोस्ट शेयर की थी।
कई लोगों को इसी तरह जान से मारने की धमकी उदयपुर, जोधपुर और राजस्थान के कुछ अन्य इलाकों में भी मिली है। उदयपुर में सिर कलम करने के वाकये के बाद राजस्थान पुलिस ने इन धमकियों को गंभीरता से लेना शुरू कर दिया है।
गुरुवार को उदयपुर में पुलिस ने सुंदरवास इलाके में एक युवक को धमकी देने के आरोप में 4 लोगों अब्दुल बारी, गुफरान हुसैन, शाहिद नवाज खान और शोएब जिलानी को गिरफ्तार कर लिया। युवक ने नूपुर शर्मा का समर्थन करते हुए सोशल मीडिया पर कॉमेंट किया था। उसकी शिकायत मिलने पर पुलिस ने चारों लोगों को गिरफ्तार कर लिया।
ये शरारती तत्व हैं जो जान से मारने की धमकी देकर आम लोगों के दिलों में खौफ पैदा करने की कोशिश कर रहे हैं। कानून का पालन करने वाले नागरिकों को डरने की जरूरत नहीं है। ऐसी धमकियां मिलने पर तुरंत पुलिस को सूचना दें। और पुलिस को भी जल्द से जल्द कार्रवाई करने के लिए कहा जाना चाहिए।
कन्हैयालाल ने पुलिस को धमकी मिलने की जानकारी दी थी, सुरक्षा की मांग की थी लेकिन पुलिस ने उसकी बात नहीं सुनी और उसकी जान चली गई। इसीलिए लोगों को भरोसा टूटा है. उम्मीद है कि राजस्थान पुलिस अब ऐसी गलती नहीं दोहराएगी। ‘नफरत और मौत के सौदागर’ ऐक्टिव हो गए हैं और पुलिस को ऐसी गतिविधियों पर कड़ी नजर रखनी चाहिए।
हालात इस हद तक पहुंच गए हैं कि नफरत का जहर फैलाने के लिए पुराने वीडियो वायरल किए जा रहे हैं। कुछ वीडियो में लोग गला काटने की बात कह रहे हैं, कोई जीभ काटने वाले को इनाम देने का ऐलान कर रहा है। कुछ लोग इस माहौल का इस्तेमाल अपनी पुरानी रंजिश का हिसाब बराबर करने के लिए कर रहे हैं।
मेरे पास ऐसे कई नफरत भरे वीडियो हैं, जिनमें से ज्यादातर पुराने या झूठे हैं। कोई भी झूठा वीडियो, कोई अफवाह चिंगारी का काम कर सकती है। सभी को बहुत सतर्क रहना होगा क्योंकि इनमें से कुछ वीडियो आपके फोन तक भी पहुंच सकते हैं।
मिसाल के तौर पर गुरुवार को हरियाणा के मेवात का एक वीडियो वायरल हुआ जिसका राज्य सरकार ने तुरंत संज्ञान लिया। वीडियो में दिखाई दे रहा है कि कई मुसलमान प्रदर्शन कर रहे हैं, भड़काऊ नारे लगा रहे हैं और इरशाद नाम का एक शख्स नूपुर शर्मा की जुबान काटने वाले को 2 करोड़ रुपये का इनाम देने की बात कर रहा है। जांच करने पर पता चला कि वीडियो 12 जून को हरियाणा के मेवात में एक रैली का है। स्थानीय पुलिस ने कहा कि रैली बगैर इजाजत के निकाली गई थी और पुलिस अब इस बात की जांच कर रही है कि वीडियो किसने बनाया था।
उत्तर प्रदेश के बरेली में एक वीडियो सामने आया जिसमें नासिर नाम का शख्स किसी से झगड़ रहा है और कह रहा है कि अगर नूपुर शर्मा उसके सामने आ जाएगी तो वह उसका गला काट देगा, और जो उसका साथ देगा वह उसकी भी जान ले लेगा। पुलिस ने कुछ ही घंटों के भीतर नासिर को गिरफ्तार कर लिया।
उत्तर प्रदेश के मुरादाबाद में एक युवक को धमकी देने के मामले में पुलिस ने तीन लोगों को गिरफ्तार किया है। मुरादाबाद के ठाकुरद्वारा इलाके में रहने वाले एक शख्स ने नूपुर शर्मा के समर्थन में वॉट्सऐप स्टेटस लगाया था, जिसके बाद से उसे धमकियां मिलनी शुरू हो गईं। धमकी देने वाले कह रहे थे कि नूपुर शर्मा का समर्थन करने पर जो हाल उदयपुर के कन्हैयालाल का हुआ, वैसा ही तुम्हारे साथ करेंगे। युवक की शिकायत के बाद पुलिस ने शाहनवाज आलम, दानिश नाम के 2 युवकों, और एक जुवेनाइल को गिरफ्तार किया है। पुलिस को एक ऑडियो क्लिप भी मिली है, जिसमें ये लोग धमकी देते हुए सुनाई दे रहे हैं।
मुंबई के गिरगांव इलाके में 16 साल की एक लड़की को जान से मारने की धमकी दी गई। इस लड़की का कसूर सिर्फ इतना है कि उसने कन्हैयालाल की निर्मम हत्या के 3 दिन बाद 1 जुलाई को फेसबुक पर एक वीडियो पोस्ट किया। वीडियो में उसने कन्हैयालाल की हत्या को भविष्य के लिए एक बड़ी चुनौती बताया।
इस लड़की ने वीडियो में न तो नूपुर शर्मा का समर्थन किया और न ही किसी धर्म के खिलाफ कुछ कहा। उसने केवल इतना कहा, ‘अगर कन्हैयालाल की हत्या आपको नींद से नहीं जगाती, तो अगली बारी आपकी भी हो सकती है।’ इसके तुरंत बाद एक अज्ञात शख्स ने उसे वॉट्सऐप नंबर पर कॉल किया और जान से मारने की धमकी दी। लड़की ने वीपी रोड पुलिस स्टेशन में शिकायत दर्ज कराई और पुलिस अब उस शख्स की तलाश कर रही है।
आप में से कई लोग सोच रहे होंगे कि 16 साल की लड़की को मजहब और सियासत वगैरह के चक्कर में पड़ने की क्या जरूरत है। लेकिन इसे इस तरह भी देखा जा सकता है कि कन्हैयालाल की जिस खौफनाक तरीके से हत्या की गई, उससे ऐसा माहौल बन गया कि अब छोटे बच्चे भी इन सब चीजों पर चर्चा करने लगे हैं। दुख की बात यह है हम किसी आदर्श समाज में नहीं रह रहे, क्योंकि कन्हैयालाल के मामले में जो सबसे खतरनाक बात हुई वह यह थी कि कातिलों ने पहले धमकी दी, फिर कत्ल की वारदात को अंजाम दिया, फिर सबकुछ कैमरे पर रिकॉर्ड किया ताकि वीडियो को सोशल मीडिया पर फैलाया जा सके और ज्यादा से ज्यादा लोग इसे देख सकें।
धमकी और बेरहमी से सिर कलम करने का वीडियो तमाम लोगों तक पहुंचा और इसका नतीजा यह हुआ कि हर शख्स ने इस घटना पर अपने-अपने तरीके से प्रतिक्रिया दी। मुंबई की 16 साल की लड़की ने भी इस वारदात पर वीडियो बनाकर उसे फेसबुक पर अपलोड कर दिया। उसने एक जुलाई को यह वीडियो अपलोड किया और 2 जुलाई को 3 वॉट्सऐप नंबर से उसे फोन आए। तीनों फोन कॉल्स में उसे जान से मारने की धमकी दी गई, जिसके बाद पुलिस में केस दर्ज किया गया। मुंबई पुलिस ने एक सहायक पुलिस इसंपेक्टर समेत 3 पुलिसवालों को इस लड़की और उसके परिवार वालों की सुरक्षा में तैनात किया है।
ऐसे भी लोग हैं जो बदला लेने के लिए दूसरों को फंसाने की कोशिश कर रहे हैं। उत्तर प्रदेश के गाजियाबाद में स्थित लोनी इलाके में परवेज नाम के शख्स ने अपने पड़ोसी सदर खान को फंसाने के लिए एक कारोबारी को धमकी भरा खत लिखकर कहा था कि नूपुर शर्मा का सपोर्ट करने की वजह से उसका हाल भी कन्हैयालाल जैसा होगा। पुलिस ने छानबीन की तो पता चला कि चिट्ठी सदर खान ने नहीं बल्कि उसके पड़ोसी परवेज ने भेजी थी। पुलिस ने फौरन परवेज को गिरफ्तार कर लिया।
सिर कलम करने और फिर लगातार धमकाए जाने की खबरें आने के बाद जो तनावपूर्ण हालात पैदा हुए हैं, उनका अंदाजा सहज ही लगाया जा सकता है। राजस्थान के करौली में स्थित भूडारा बाजार में गुरुवार को 2 युवकों के बीच झगड़ा हो गया और देखते ही देखते दंगे की अफवाह फैल गई। इसके साथ ही दुकानों के शटर गिरने लगे, जिन लोगों के बच्चे स्कूल गए थे, वे उन्हें घर लाने के लिए भागे। झगड़े के दौरान दोनों ही गुटों के लोगों ने एक दूसरे पर धारदार हथियारों से हमला किया, और दंगे होने की अफवाह पूरे शहर में फैल गई।
अफवाह फैलाने, आपत्तिजनक वीडियो फॉरवर्ड करने और जान से मारने की धमकी देने जैसी घटनाओं ने ऐसे हालात पैदा कर दिए हैं कि ऐसी विरोधी ताकतें समाज को बांटने में कामयाब हो सकती हैं। याद रखें, ये लोग इस देश को 14वीं सदी के बर्बर युग में वापस ले जाने के लिए 21वीं सदी के डिजिटल साधनों का इस्तेमाल कर रहे हैं।
आप हिंदू हों या मुसलमान, दोनों को ऐसा करने वाले लोगों को पहचानने की जरूरत है, समाज के सामने उन्हें एक्सपोज करने की जरूरत है। कोई भी मैसेज, कोई भी वीडियो फॉरवर्ड करने से पहले यह सोचें कि इसके पीछे भेजने वाले की नीयत क्या है। आप सोचें कि जिसने वीडियो बनाया उसकी मंशा क्या है। अगर सबलोग सावधान रहेंगे तो कुछ सिरफिरे मजहब का, धार्मिक भावनाओं का बेजा इस्तेमाल नहीं कर पाएंगे।
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